Wednesday, 21 August 2024

हर भाई को अपनी बहन की करनी चाहिए रक्षा


रक्षाबंधन का त्योहार सावन माह में खेती-किसानी के समय मनाया जाता है। बारिश में भीगते-भागते राखी बांधने या बंधवाने के लिए भाई-बहन एक-दूसरे के पास जाते हैं। लोग कहते हैं कि इससे भाई-बहन में प्रेम दिखता है। बहन की रक्षा भाई कर सके इसलिए राखी बांधी जाती है। चाहे बहन भाई से बड़ी क्यों न हो, बहन कुछ नहीं कर सकती सब रक्षा भाई ही करेगा। क्योंकि यहां पुरुष प्रधान समाज है। पुरुष ही सबसे शक्तिशाली है ऐसा माना जाता है। दुधमुंहा भाई भी शादीशुदा बहन की रक्षा करेगा यह कितनी शोभा देती है?

बाजारवाद को जन्म देता है यह त्योहार

ज्यादातर त्योहार खर्चीले ही होते हैं। इसी प्रकार रक्षाबंधन का त्योहार में भी पूरा बाजार राखी, कपड़े, साड़ी, मिठाई, ज्वेलर्स और हर प्रकार की गिफ्ट सामग्री से पूरा बाजार पट जाता है। इस दिन आने-जाने के समय के साथ पेट्रोल-डीजल की भी बर्बादी होती है। त्योहार के नाम पर करोड़ों रुपए खर्च कर दिए जाते हैं। मिठाई में कालाबाजारी के कारण सेहत के साथ भी खिलवाड़ होता है। जगह-जगह मिष्ठान के नाम पर जहर बेचा जाता है।

शुभ मुहूर्त में बांधने के चक्कर में हो रही दुर्घटना

ब्राम्हण-पुरोहित के बताएं हुए मुहूर्त में ही राखी बांधने के लिए बहन अपने भाई के यहां जल्दबाजी में जाती है। हड़बड़ी में गाड़ी से दुर्घटना हो जाती है। उस समय न भगवान रक्षा करता है और न ही भाई रक्षा कर पाता है। इसलिए मुहूर्त के फेर में रहना बहुत बड़ा जोखिम कार्य है।

गिफ्ट नहीं मिला तो रिश्ते में दरार

रक्षा के नाम से राखी बांधने के बाद बहन को अगर गिफ्ट नहीं मिला तो उसका मुंह देखने लायक होता है। आसपास के लोगों को बताएगा कि अच्छी साड़ी नहीं मिली या इतनी कम कीमत की चीज दी है। इससे ज्यादा तो पड़ोसी ने अपनी बहन को दिया। भाई को इस बात का पता चला तो बहन और भाई में बोल-चाल बंद भी हो जाता है। एक-दूसरे के घर में आना-जाना भी बंद हो जाता है।

जब मन करे भाइयों के यहां जाना चाहिए

भाई-बहन के प्यार अटूट होता है। जब भी फुरसत मिले बहन को भाई के साथ समय बिताना चाहिए। बहन ससुरला चली गई है तो बहन को अपने भाई से मिलने आना चाहिए, क्योंकि उसका ही घर है। मां-बाप और भाई से जब भी मिलने का मन करे तो महिला अपनी मायके जा सकती है। ठीक इसी प्रकार भाई को भी बहन के यहां जाना चाहिए। इसमें त्योहार या दिखावा नहीं होना चाहिए। खुले मन से भाई-बहन को रिश्ता निभाना चाहिए।

बहन को पूरा सम्मान मिलना चाहिए

बहन रक्षाबंधन में राखी न बांधे फिर भी भाई को चाहिए कि वह बहन की रक्षा और सहयोग करें। हर सुख-दुख में भाई-बहन को एक साथ होना चाहिए। बहन को भी पिता की संपत्ति में पूरा अधिकार है और बराबर का हक मिलना भी चाहिए। ऐसा नहीं होना चाहिए कि स्वार्थ के कारण बहन की पूछ-परख हो, जब बहन संपत्ति को भाई के नाम कर देता है तब भाई रक्षाबंधन तो छोड़िए बहन को हमेशा के लिए ही भूल जाता है।

-टिकेश कुमार, अध्यक्ष, एंटी सुपरस्टीशन ऑर्गेनाइजेशन (ASO)

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